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लाखों कांवड़िये करेगे दूधेश्वर नाथ मन्दिर में जलाभिषेक

गाजियाबाद स्थित सिद्धपीठ दूधेश्वर मन्दिर में श्रावण मास को लेकर जिस प्रकार भगवान विष्णु को मार्गशीर्ष का महीना प्रिय है उसी प्रकार भगवान शिव को श्रावण माह अतिप्रिय है। श्रावण माह में किये गये पूजन, जप व अभिषेक का फल अनन्त गुणा मिलता है। इन्हीं सबको ध्यान में रखते हुए सिद्धपीठ श्री दूधेश्वर नाथ मन्दिर ने श्रावण माह की अपनी सभी तैयारियां पूर्ण कर ली है। मन्दिर में पूरे श्रावण माह में प्रतिदिन श्री दूधेश्वर वेद विद्यालय के आचार्यों द्वारा आशुतोष भगवान का अभिषेक कराया जायेगा जिसमें गाजियाबाद के सामान्य भक्तों के अलावा अन्य नगरों के भक्त, अधिकारी व राजनेता भाग लेंगे।
उपरोक्त जानकारी श्री दूधेश्वर नाथ मन्दिर के पीठाधीश्वर , अंतरराष्ट्रीय प्रवक्ता श्री पंच दशनाम जूना अखाड़ा के श्रीमहन्त नारायण गिरि जी ने बताया कि श्रावण शिवरात्रि का मुख्य मेला 26 जुलाई से 27 जुलाई तक रहेगा। शिवरात्रि का व्रत बुधवार 27 जुलाई को होगा तथा इसी दिन लाखों की संख्या में शिवभक्त कांवड़िये हरिद्वार, गंगोत्री, गामुख से गंगाजल लाकर भगवान दूधेश्वर का अभिषेक करेंगे। 26 जुलाई को ही भगवान दूधेश्वर की आठ प्रहर की विशेष पूजा भी आरम्भ होगी ।
मन्दिर विकास समिति के अध्यक्ष श्री धर्मपाल गर्ग जी ने बताया कि मन्दिर अपने नये स्वरूप में शिवभक्तों का स्वागत करने के लिये पूर्ण रूप से तैयार है। जिला प्रशासन के सभी विभाग पूरी तरह से अपने अपने कार्यों को पूर्ण करने में लगे हुये हैं। अनुज धर्म गर्ग ने बताया कि इस बार अधिक संख्या में श्रद्धालु एवं कावड़ियों के सुरक्षा में सम्पूर्ण मन्दिर परिसर व मेला क्षेत्र सी०सी०टी०वी० से कवर रहेगा जिससे किसी भी आसामाजिक गतिविधियों पर तत्काल नियन्त्रण किया जा सके। कांवडियों के ठहरने की व्यवस्था शम्भूदयाल इन्टर कॉलिज व डिग्री कॉलेज में की गई है। जहां प्रशासन की ओर से जल व मोबाइल शौचालय की व्यवस्था भी रहेगी तथा चिकित्सा सुविधा भी हर समय उपलब्ध रहेगी। सम्पूर्ण मेला क्षेत्र की सुरक्षा के लिए पुलिस, पी0ए0सी0, महिला पुलिस, नागरिक सुरक्षा के वार्डन व दूधेश्वर स्वंय सेवक के साथ ही कांवडियो के वेश में पुलिस के सदस्य कार्य करेंगे । गाजियाबाद नगर निगम द्वारा पुरे श्रावण मास में भगवान दूधेश्वर के अभिषेक के लिये गंगाजल की व्यवस्था भी की गई है। जिससे सभी भक्त गण गंगा जल द्वारा भगवान भोलेनाथ का जलाभिषेक करेंगे।एव
श्री दूधेश्वर श्रृंगार सेवा समिति के अध्यक्ष श्री विजय मित्तल ने जानकरी देते हुये बताया की श्रावण माह में अभी तीन सोमवार 25 जुलाई 1 अगस्त व 8 अगस्त को रहेंगे। इन दिनों में भगवान दूधेश्वर का विभिन्न रूपों में आरती से पूर्व भव्य श्रृंगार व 156 व्यंजनों से भोग लगाया जायेगा। तथा आरती के पश्चात श्रृंगार को भक्तों के दर्शनार्थ रखा जायेगा । शिवरात्रि को भगवान का विशेष श्रृंगार होगा। भगवान दूधेश्वर भक्तों को दूल्हे के रूप में दर्शन देंगे। एवं कांवड़ मेले में दूधेश्वर सिंगार समिति के सभी 300 कार्यकर्ता द्वारा 2 दिन होने वाले कांवड़ मेले में पूरी व्यवस्था संभालेंगे इसमें किसी प्रकार कावड़ियों एवं भक्तो को कष्ट न हो।
मन्दिर के मिडिया प्रभारी श्री एस० आर० सुथार ने बताया की हाजरी का जल का जल मंगलवार सुबह 26 जुलाई से आरम्भ होगा तथा चतुर्दशी का जल मंगलवार शाम 26जुलाई को शाम 9:15 से प्रारम्भ को 27 जुलाई शाम तक एवं व्रत भी उसी दिन बुधवार को रहेगा उन्होंने इस बार 2 साल से कोराना काल में कावड़ यात्रा नहीं होने के कारण इस बार हर साल से अधिक संख्या मे कांवडिये तथा लाखों श्रद्धालु भक्तों द्वारा भगवान दूधेश्वर का अभिषेक करने का अनुमान लगाया जा रहा है।

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